Rajasthan Election 2023 : आदर्श आचार संहिता का काउंटडाउन शुरू, कभी भी ऐलान संभव

प्रदेश में विधानसभा चुनावों की तैयारियों का जायजा ले जा चुका भारत निर्वाचन आयोग इस सप्ताह कभी भी आदर्श आचार संहिता की घोषणा कर सकता हैं।

Rajasthan Election 2023

Rajasthan Election 2023 : जयपुर। प्रदेश में विधानसभा चुनावों की तैयारियों का जायजा ले जा चुका भारत निर्वाचन आयोग इस सप्ताह कभी भी आदर्श आचार संहिता की घोषणा कर सकता हैं। ऐसे में प्रदेश में आचार संहिता लागू होने के बाद सरकारी कार्यों, योजनाओं सहित अन्य कामकाज निर्वाचन विभाग के जिम्मे होगा। आचार संहिता लगने के 72 घंटे में पालना कराने की बड़ी जिम्मेदारी निर्वाचन विभाग की होगी। 

मुख्य निर्वाचन अधिकारी प्रवीण गुप्ता ने बताया कि आचार संहिता लगने के पहले 24 घंटे में प्रोटोकॉल के अनुसार सरकारी विभागों और सरकारी संस्थाओं को नियमों की अनुपालना करनी होगी। अगले 48 घंटे में पब्लिक और प्राइवेट पैलेस से चुनावी बैनर-पोस्टर हटाए जाएंगे। इस प्रक्रिया को लेकर जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्देश दिए जा चुके हैं।  

रैली से पहले लेनी होगी अनुमति 

विधानसभा चुनावों की आचार संहिता लागू होने के साथ ही प्रदेश में सरकार की कई योजनाओं पर तलवार लटकेगी, जबकि कुछ ऐसी योजनाएं भी हैं, जिन पर आचार संहिता लागू होने पर कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। अधिकारियों की मानें तो ऐसी योजनाएं, जिनकी वित्तीय स्वीकृति तो हो गई, मगर काम नहीं शुरू हो सका, वह अटक जाएंगी, लेकिन जो काम जो शुरू हो चुके हैं, नहीं रुकेंगे। 

वहीं, सरकारी गाड़ी, सरकारी विमान या सरकारी बंगले का इस्तेमाल चुनाव प्रचार के लिए नहीं किया जाएगा। वहीं, किसी भी तरह की सरकारी घोषणा, लोकार्पण और शिलान्यास आदि नहीं होगा। किसी भी राजनीतिक दल, प्रत्याशी, राजनेता या समर्थकों को रैली करने से पहले पुलिस से अनुमति लेनी होगी। किसी भी चुनावी रैली में धर्म या जाति के नाम पर वोट नहीं मांगे जाएंगे। 

नहीं कोई सरकारी निविदा 

आचार संहिता लगते ही न तो कर्मचारियों का तबादला होगा ना ही जॉइनिंग। साथ ही, लंबे अवकाश के लिए निर्वाचन विभाग से अनुमति लेनी जरूरी होगी। निर्वाचन के आयोजन से प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से जुड़े हुए सभी अधिकारियों/ पदाधिकारियों के स्थानांतरण और तैनाती पर संपूर्ण प्रतिबंध होगा। यदि किसी अधिकारी का तबादला या तैनाती आवश्यक मानी जाती है तो आयोग की अनुमति ली जाएगी। प्रशासन का पूरा नियंत्रण सीधे चुनाव आयोग के हाथों में चला जाएगा। वहीं, निर्वाचित जनप्रतिनिधियों और मंत्रियों का अधिकार सीमित हो जाएगा। 

दिसंबर के पहले सप्ताह में होने हैं चुनाव

भाजपा की जयपुर संभागीय बैठक में भाग लेने आए केंद्रीय मंत्री धर्मेन्द्र प्रधान ने कहा कि दिसंबर के पहले सप्ताह में चुनाव होने हैं। धर्मेंद्र प्रधान ने दावा किया कि राजस्थान में अगले पचास दिन में भाजपा सत्ता में आएगी।