जयपुर। जुनैद, नासिर केस में हरियाणा और राजस्थान में जारी जांच के बीच, दोनों तरफ से सियासत भी खूब हो रही है। इस मामले में राजस्थान पुलिस की तरफ से नामजद आरोपी श्रीकांत की गर्भवती पत्नी से मारपीट के आरोप में एफआईआर दर्ज की गई है। एफआईआर में लिखा गया है कि राजस्थान पुलिस के 30-40 कर्मी आए और घर में घुसकर मारपीट की। उन्होंने न सिर्फ गालियां दी बल्कि प्रार्थी के दो बेटे विष्णु और राहुल को जबरन उठा ले गए। मारपीट के कारण श्रीकांत की गर्भवती पत्नी की हालत खराब हो गई और उसके पेट में बच्चे की मौत हो गई।
दुलारी देवी की शिकायत पर यहां नगीना थाने में भारतीय दंड संहिता की संबंधित धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया। नूंह के पुलिस अधीक्षक वरुण सिंगला ने बताया कि हमने गर्भस्थ शिशु का शव निकलवाकर उसका पोस्टमॉर्टम सोमवार को डॉक्टरों के एक बोर्ड से कराया और अंतिम रिपोर्ट का इंतजार है। दुलारी देवी की शिकायत पर राजस्थान पुलिस के अज्ञात कर्मियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है। भरतपुर के दो लोगों के कथित अपहरण के मामले में बजरंग दल से जुड़े पांच लोगों पर मामला दर्ज किया गया था।
दोनों के शव गुरुवार को हरियाणा में भिवानी के लोहारु में जली अवस्था में मिले थे। दुलारी देवी मामले के पांच आरोपियों में से एक श्रीकांत पंडित की मां हैं। राजस्थान पुलिस शुक्रवार सुबह मरोदा गांव में श्रीकांत के घर में दबिश के लिए पहुंची थी। इधर भरतपुर में राज्यसभा सदस्य घनश्याम तिवाड़ी ने कामां के घाटमिका क्षेत्र में हुए अपहरण कर जलाकर हत्या करने के बहुचर्चित मामले की घटना की निंदा करते हुए इस प्रकरण की सीबीआई से जांच की मांग की।
प्रदर्शनकारियों ने NH-48 को किया जाम
नासिर-जुनैद के स के आरोपी मोनू मानेसर के समर्थन में हरियाणा के गुरुग्राम में एक ‘हिंदू महापंचायत’ आयोजित की गई। चार घंटे तक चली इस महापंचायत में पूरे के स की सीबीआई जांच की मांग की गई और गो रक्षकों के खिलाफ दर्ज केस को ‘षड्यंत्र’ करार दिया गया। पंचायत के कई वक्ताओं ने मोनू मानेसर की गिरफ्तारी को लेकर राजस्थान पुलिस को चेतावनी दी। इस दौरान दर्शनकारियों ने NH-48 को जाम कर दिया और कहा कि मोनू मानेसर को गिरफ्तार करने के लिए राजस्थान पुलिस अपने रिस्क पर आए।
पंचायत में आरोप लगाया गया कि राजस्थान पुलिस मनमानी कर रही है और बेवजह गो रक्षकों को फंसाना चाहती है। पंचायत ने कमेटी गठन कर ACP से मुलाकात कर राष्ट्रपति के नाम ज्ञापन सौंपा और मोनू मानेसर के परिवार को अन्य गो रक्षकों को सुरक्षा देने की मांग की। इस पंचायत में विश्व हिंदु पर परिषद, बजरंग दल और हिंदू संगठनों के साथ-साथ बड़ी तादाद में ग्रामीण भी मौजूद थे।
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