जयपुर। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा ने प्रदेश सरकार और शिक्षा मंत्री मदन दिलावर निशाना साधा है। झुंझुनूं में कार्यकर्ताओं के संवाद कार्यक्रम में उन्होंने शिक्षा मंत्री मदन दिलावर पर कटाक्ष किया। उन्होंने कहा कि शिक्षा मंत्री ऐसे हैं, जो कहते हैं कि कांग्रेस का पाठ्यक्रम बदल देंगे। उन्हें यही नहीं मालूम कि राज्य में एनसीईआरटी पाठ्यक्रम चलता है, जो भारत सरकार के अधीन है। वहीं, प्रदेश प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा ने कांग्रेसी नेताओं से साफ शब्दों में कहा कि कांग्रेस नेताओं ने खुद को बड़ा समझ लिया है।
हमें कार्यकर्ताओं का सम्मान करना होगा। प्रदेशाध्यक्ष डोटासरा और प्रभारी रंधावा लोकसभा चुनावों को लेकर कार्यकर्ता संवाद कार्यक्रम में पहुंचे थे। डोटासरा ने राज्य सरकार पर तंज कसते हुए कहा कि दो महीने तक इनका मंत्रिमंडल नहीं बन पाया। पर्ची से मुख्यमंत्री बना। कार्य योजना सौ दिन की बनी, लेकिन कोई काम नहीं हुए। शिक्षा मंत्री कह रहे हैं कि हम पाठ्यक्रम में बदलाव कर देंगे। ये कांग्रेस का पाठ्यक्रम हैं, ये तो हमारे शिक्षा मंत्री है।
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उनको ये ही पता नहीं है कि राजस्थान में एनसीआरटी पाठ्यक्रम चलता है। भारत सरकार का उपक्रम है, जो पाठ्यक्रम बनाता है। ये भाजपा की तानाशाह सरकार है, लोकतंत्र को खत्म कर देगी। दस साल हो गए मोदी सरकार बने जो वादे किए वो एक भी पूरा नहीं किया। बात चाहे महंगाई, बेरोजगारी कम करने की हो, या किसानों की आमदनी दोगुनी करनी की हो, हर मामले में फेल है। केवल धार्मिक उन्माद फैलाना, संवैधानिक संस्थाओं का दुरुपयोग करना, तानाशाही करना, डराना धमकाना, नफरत फैलाना इसी के आधार पर ये चुनाव जीतते आ रहे हैं।
दो माह में कोई काम नहीं
डोटासरा ने कहा कि ये सिर्फ धार्मिक उन्माद फैलाकर वोटों की फसल काटने की बात कर रहे हैं, दो महीने हो गए, कुछ नहीं किया। साफ कर दिया है कि किसानों को कर्ज नहीं मिलना चाहिए। मिल गया तो उसका माफ नहीं होना चाहिए, ये बात खुद कृषि मंत्री कह रहे है। ये हमारी आपसी कलह की बात कर रहे तो खुद की दिख नहींं रही है, मुख्यमंत्री मंत्री को नहीं मान रहा। मुख्यमंत्री और मंत्री की उनके अधिकारी नहीं मान रहे है। पता नहीं कहा से पर्ची आ रही है, कहां से फै सले हो रहे हैं?
भाजपा की सरकार बनते ही वादों पर चर्चा बंद
डोटासरा ने कहा कि आरपीएससी भंग की बात कर रहे थे, पेपर माफिया के खिलाफ हम सबसे पहले कानून लेकर आए। आज वहीं केंद्र में बिल लेकर आए हैं, लेकिन हम तो पहले कह रहे थे, ये एक स्टेट की समस्या नहीं है, बल्कि पूरे देश की समस्या है। केंद्र सरकार को कानून लेकर आना चाहिए था, ताकि युवाओं का भविष्य खराब न हो। तब वो नहीं माने और अब कानून लेकर आए हैं। उन्होंने कहा कि अब भाजपा के नेता कहते है कि आरपीएससी भंग नहीं हो सकती। राजेन्द्र राठौड़ और भाजपा प्रदेशाध्यक्ष सीपी जोशी ने कहा था कि हमारी सरकार बनते ही आरपीएससी के मौजूदा स्वरूप को भंग कर देंगे, लेकिन नहीं किया।
कार्यकर्ताओं का सम्मान करना होगा: रंधावा
इधर, प्रदेश कांग्रेस प्रभारी रंधावा ने पार्टी की अंतर्कलह को खत्म करने पर बात की। उन्होंने कहा कि पार्टी के नेताओं को कार्यकर्ताओं का सम्मान करना होगा। नेताओं ने खुद को बड़ा समझ लिया है। इसलिए कार्यकर्ता दूर होते जा रहा है। ये परिपाटी खत्म करनी होगी। सब को एकजुट होना होगा, तभी चुनाव जीत पाएंगे।
प्रभारी रंधावा ने कहा कि भाजपा राम को सिर्फ अपना ही बता रही है। जब नाथूराम गोडसे ने महात्मा गांधी को गोली मारी तो उनके मुंह से हे राम ही शब्द निकला था। कांग्रेस का भारत की आजादी में बहुत बड़ा योगदान है। भाजपा और आरएसएस के किसी भी नेता का भारत की आजादी में कोई योगदान नहीं है।
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