Rajasthan Election 2023: राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए रविवार को बीजेपी ने 15 उम्मीदवारों की घोषणा कर दी है। इस लिस्ट में सबसे चौंकाने वाला नाम शाहपुरा से सामने आया है। इस सीट पर बीजेपी ने अपना उम्मीदवार राजस्थान बेरोजगारी एकृकित महासंघ के अध्यक्ष उपेन यादव को बनाया है। उपेन यादव 2011 से राजस्थान में बेरोजगार युवाओं की आवाज उठा रहे है। सरकार चाहे किसी की भी हो। उपेन लगातार आक्रामक रुख के साथ बेरोजगारों की मांग उठाते नजर आए है।
2012 में सरकार को किया मजबूर
6 फरवरी 2012 को पहली बार युवा उपेन यादव ने कुछ बेरोजगार युवाओं के साथ शिक्षक भर्ती के नियमों में बदलाव की मांग उठाई थी। वर्ष 2012 में तृतीय श्रेणी शिक्षकों की भर्ती हो रही थी। इस दौरान उन्हें सरकार के भर्ती नियम सही नहीं लगे और उन्होंने नियमों में बदलाव के लिए सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया। उनका आंदोलन कई महीनों तक चलता रहा। उनकी दृढ़ इच्छा शक्ति को देखते हुए सरकार को उनकी जायज मांगें माननी पड़ीं। वर्ष 2013 तक तृतीय श्रेणी शिक्षक भर्ती की मेरिट जिला स्तर पर बनती थी। बाद में उपेन यादव की मांग पर राज्य स्तरीय मेरिट बननी शुरू हुई।
मुकदमें हुए दर्ज
पिछले 11 सालों में उपेन यादव करीब 300 बार आंदोलन कर चुके हैं। बेरोजगार युवाओं की मांगों को लेकर 8 बार आमरण अनशन किया और पुलिस द्वारा जबरन अस्पताल ले जाने पर कई दिनों तक आईसीयू में भर्ती रहना पड़ा। हर बार सरकार के लिखित आश्वासन या सहमति के बिना अनशन नहीं तोड़ा। बेरोजगारों के हक के लिए किए गए आंदोलनों के चलते उपेन के खिलाफ अलग-अलग पुलिस स्टेशनों में आठ मामले दर्ज हैं।
नकल विरोधी कानून की मांग उठी
पिछले कई सालों से विभिन्न प्रतियोगी परीक्षाओं के पेपर लीक होते रहे हैं। तीन साल पहले उपेन यादव ने पेपर लीक की घटनाओं पर लगाम लगाने के लिए नया नकल विरोधी कानून बनाने की मांग उठाई थी। आखिरकार पिछले साल राज सरकार ने नया नकल विरोधी कानून बनाया, जिसमें कई सख्त प्रावधान किये गये।