अजमेर। राजस्थान लोक सेवा आयोग यानी आरपीएससी की छवि धूमिल करने के उद्देश्य से विवादित पोस्टर लगाने का मामला सामने आया है। इस संबंध में आयोग के उपसचिव ने इस संबंध में सिविल लाइन थाना पुलिस को रिपोर्ट दी। जिस पर पुलिस ने विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया है और जांच शुरू कर दी है।
RPSC के उपसचिव ने दर्ज कराया मुकदमा
मामले की जानकारी देते हुए सिविल लाइन थानाधिकारी दलबीर सिंह फौजदार ने बताया कि आरपीएससी के उपसचिव चैनाराम पंवार ने थाने में रिपोर्ट दी। जिसमें बताया कि आयोग के भवन और चैयरमेन के निवास पर किसी अज्ञात व्यक्ति ने पोस्टर चस्पा कर दिए। इसके जरिए आयोग के खिलाफ साजिश रचने और अवैध कार्य करने की मंशा है। इस संबंध में आईपीसी की धारा 427, 120 बी और 3 पीडीपीपी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। मामले की जांच उपनिरीक्षक विनोद कुमार को सौंपी गई है। जांच के आधार पर आगामी कार्रवाई की जाएगी।
यह लिखा है पोस्टर में
जो पोस्टर आरपीएससी कार्यालय और चेयरमैन के आवास के बाहर लगाया गया है उसमें लिखा है ‘राजस्थान लोक सेवा आयोग द्वारा नियुक्त, सरकारी दलाल प्रो. आर.एस. आढ़ा से अभ्यर्थी सीधा सम्पर्क करें और नौकरी पाएं’। इस पोस्टर में दो क्यूआर कोड दिए गए हैं, जिसमें से एक में पे आरपीएससी और पैसे दो नौकरी पाओ लिखा है। तो दुसरे में पे ब्रोकर और नीचे 100 प्रतिशत नौकरी की गारंटी व एक मोबाइल नम्बर भी लिखा है। साथ ही यह भी लिखा है ‘अंधी गूंगी बहरी सरकार से यह हमारी अंतिम अपील कॉलेज सहायक आचार्य भर्ती परीक्षा राजनीति विज्ञान 2020 में जिस लेखक की गाइड से बहुसंख्यक प्रश्न आए उसका विरोध दर्ज करवाया उसके बावजूद उसी लेखक प्रो. आढ़ा को साक्षात्कार प्रक्रिया में भी शामिल किया गया।
आरपीएससी, कोचिंग संस्थान, पब्लिकेशन, वकील एवं प्रो. आर.एस. आढ़ा जैसे गिरोह के महागठजोड़ का शिकार होते अभ्यर्थी निवेदक समस्त पीड़ित छात्र।
रिपोर्ट- नवीन वैष्णव