Jaipur: उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन जल्द ही रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन से मुलाकात करने वाले है, लेकिन किम जोन उन पुतिन से मुलाकात करने के लिए प्लेन की जगह ट्रेन का सफर तय करेंगे। यह कोई पहली बार नहीं है जब उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग उन ट्रेन से किसी और देश जा रहे है। इससे पहले वो चीन भी ट्रेन से गए थे।
विरासत में पिता से मिली ट्रेन
न्यूयॉर्क पोस्ट की रिपोर्ट की माने तो किम को यह ट्रेन अपने पिता किम जोंग इल से विरासत में प्राप्त हुई है। जानकारों की मानें तो किम जोन को प्लेन का सफर करने से डर लगता है। यहीं कारण है कि वह किसी अन्य देश का सफर करने के लिए ट्रेन को ज्यादा महत्व देते है।
पूरी तरह से बुलेटप्रूफ ट्रेन
किम जोंग की ट्रेन बिल्कुल भी समान्य नहीं है इसकी औसत गति लगभग 37 मील प्रति घंटा है। इस ट्रेन में कॉन्फ्रेंस रूम, सैटेलाइट फोन, फ्लैटस्क्रीन टीवी के साथ ही 100 सुरक्षा एजेंट की व्यवस्था हैं। ट्रेन में तैनात इन 100 सुरक्षा एजेंटों का काम मार्गों और स्टेशनों को स्कैन करना है, ताकि बम या किसी अन्य खतरे से बचाव किया जा सके। किन की यह ट्रेन पूरी तरह से बुलेटप्रूफ है।
‘खूबसूरत महिला कंडक्टर’
इस ट्रेन में खाना बनाने के लिए शेफ मौजूद रहता है, यह शेफ चीनी, रूसी, कोरियाई, जापानी और फ्रेंच खाना बना सकता हैं। मनोरंजन के लिए इस ट्रेन में महिला कंडक्टर को रखा गया हैं। इन्हें ‘खूबसूरत महिला कंडक्टर’ कहा जाता है।
हमले के डर से काफिले के आगे एक अलग ट्रेन चलती है। वहीं, किम के रविवार तक रूस के व्लादिवोस्तोक पहुंचने की उम्मीद है। वह ट्रेन से रूस के पियर 33 तक जा सकते हैं। जहां पनडुब्बी जहाज प्रशांत बंदरगाह शहर की निगरानी करते हैं। इसके अलावा किम मॉस्को भी जा सकते हैं।