जयपुर। प्रदेश में डॉक्टरों की सहमति के बाद राइट टू हेल्थ (Right To Health) बिल लागू हो गया है। इसे लेकर आज स्वास्थ्य दिवस के मौके पर शहीद स्मारक पर एक जन स्वास्थ्य अभियान की तरफ से कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम में अभियान से जुड़े लोगों ने राइट बिल के फायदे और नुकसान बताए।
कार्यक्रम में शामिल लोगों ने सरकार को राइट टू हेल्थ बिल पूरे प्रदेश भर में लागू करने के लिए धन्यवाद दिया। इसके साथ ही मांग रखी गई कि इस कानून को जल्द से जल्द लागू किया जाए।
राज्यपाल Right To Health बिल पर साइन कर जल्द कानून बनने की ओर बढ़ाएं
जन स्वास्थ्य अभियान के सदस्यों ने कहा कि इस कार्यक्रम का उद्देश्य लोगों को इस बिल के प्रति जागरूक कराना है और हमें हमारी सफलता का जश्न मनाना है। 21 मार्च को यह बिल विधानसभा में पारित हो गया। अब हमारी सरकार से सिर्फ यही मांग है कि से जल्द से जल्द कानून का रूप दिया जाए और लागू किया जाए। अभी कुछ चीजें इसमें स्पष्ट नहीं है और नियम नहीं बना है। इसे भी जल्द पारदर्शिता के साथ पूरा किया जाए। हम राज्यपाल से मांग करते हैं कि इससे इस पर हस्ताक्षर कर इसे जल्द से जल्द कानून बनने की ओर आगे बढ़ाएं।
परसादी लाल मीणा ने कहा – पूरे देश को अब इसका फायदा मिले
आज दिल्ली में राइट टू हेल्थ बिल (Right To Health) को लेकर राज्य के स्वास्थ्य मंत्री परसादी लाल मीणा ने प्रेस कांफ्रेंस की और बताया कि भारत जोड़ो यात्रा के दौरान जब राहुल गांधी दौसा जिले से गुजर रहे थे तब सिकंदरा में गहलोत सरकार की उपलब्धियों को लेकर एग्जीबिशन लगाया गया था। तब राहुल गांधी भी प्रदेश की चिरंजीवी योजना से काफी प्रभावित हुए थे।
राहुल गांधी ने सीएम गहलोत से पूछा था कि आपका अगला कदम क्या होगा। जिस पर मुख्यमंत्री ने कहा था कि मेरा अगला स्टेप राइट टू हेल्थ होगा। मंत्री ने कहा कि हमने पहले देखा है कि पहले एमआरआई तो पैसे वालों की होती थी, लेकिन आज कोई भी जांच हो वो भी हम फ्री कर रहे है। इस साल 25 लाख रुपए तक का ईलाज फ्री देने की जो घोषणा की वो हर नागरिक का अधिकार है। अब राजस्थान में राइट टू हेल्थ बिल आ गया है। हम चाहते है पूरे देश में सभी को इलाज का अधिकार मिले।