नई दिल्ली। जंतर-मंतर पर चल रहे पहलवानों के धरने में (Wrestlers Protest) आज राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री सचिन पायलट ने पहुंचकर सभी को चौंका दिया। सचिन पायलट ने यहां धरना दे रहे पहलवानों से मुलाकात की और उनकी सभी समस्याओं और मांगों को सुना। सचिन पायलट ने पहलवानों के इस धरने को अपना समर्थन दिया है। बता दें कि बीते दिन कांग्रेस नेता रणदीप सुरजेवाला भी पहलवानों के इस धरने पर पहुंचे थे।
सही मायनों में दें सम्मान
सचिन पायलट ने पहलवानों (Wrestlers Protest) से मुलाकात करने के बाद कहा कि इनके धरने को आज 27 दिन हो गए हैं। इतने दिनों से देश का गौरव सड़कों पर है। इतनी पीड़ा में हैं, इतनी वेदना में हैं। अपनी मांगों को लेकर यहां बैठे हैं, कोई सुन नहीं रहा। इन्होंने खेलों में देश का नाम रोशन किया है। इन्हें सही मायनों में सम्मान देना चाहिए, इनकी मांगों को सुना जाए और उन्हें पूरा किया जाए। अगर देश का युवा, किसान, पहलवान सुखी ना हो, वो दुखी हो तो देश भी खुश नहीं हो सकता। वे हमारे देश और प्रदेश का अभिमान है। इनके साथ अन्याय हुआ है। इन्हें न्याय दिया जाए। इस बात को रेखांकित करने के लिए कि अगर सब कुछ ठीक है, अगर न्याय मांगने वाले को वह समय से नहीं मिलता तो वह अन्याय ही होता है।
प्रियंका, रणदीप भी पहुंच चुके
बता दें कि पहलवानों के धरने में कांग्रेस से प्रियंका गांधी, रणदीप सुरजेवाला भी पहुंच चुके हैं। रणदीप तो कल ही इस धरने में पहुंचे थे। उन्होंने प्रधानमंत्री को मुंहबोला बता दिया था और ट्वीट कर कहा था कि मुंहबले प्रधानमंत्री जी से मेरा सीधा सवाल है कि पदक जीतकर आई बेटिंयां, तब तो आपके परिवार की सदस्या थीं। आप हज़ारों मील दूर इनसे वीडियो कॉल करके पूरे देश में खुद की इमेज क्रिएट करने से पीछे नहीं हटे। बिटिया विनेश ने तो आपको सालों पहले सारी बात बताई थीं। आपने अपने सांसद के खिलाफ कोई कार्रवाई करने व गिरफ़्तार करने की बजाय उसे ही संरक्षण देने का काम किया।
अनुराग ठाकुर पर विनेश का कार्रवाई न करने का आरोप
विनेश फोगाट ने तो सीधे-सीधे खेल मंत्री अनुराग ठाकुर पर ही आरोप लगा दिया था। उन्होंने अनुराग ठाकुर पर इस मामले में जानबूझकर कार्रवाई न करने का आरोप लगाया था। उनका कहना है कि अनुराग ठाकुर पर उन्होंने इतना भरोसा किया और उन्होंने उनके साथ खेल कर दिया। दरअसल विनेश फोगाट में आरोप लगाते हुए कहा कि बृजभूषण सिंह शरण एक पावरफुल नेता है। ऐसे व्यक्ति के खिलाफ आवाज उठाना बेहद कठिन काम है। हमने धरना देने से पहले इस मामले को खेल मंत्रालय के ही एक अधिकारी तक पहुंचाया था लेकिन बात नहीं बनी।
फिर खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से हमने बात की। यौन उत्पीड़न के मामले को हमने उनसे अवगत करवाया। उन्हें पूरा मामला बताया, उन्होंने हमारी बात सुनकर एक कमेटी बनाने की बात कही थी। उन्होंने कमेटी बनाई। जिसके बाद हमने अपना धरना प्रदर्शन खत्म कर दिया था लेकिन इस कमेटी ने सिर्फ और सिर्फ इस मामले को दबाने की कोशिश की। इसने आज तक कुछ नहीं किया। अफसोस है कि हमारे खेल मंत्री ने ही हमारी बात को नहीं सुना और इस गंभीर मामले में उन्होंने कोई कार्रवाई नहीं की।