जयुपर। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में राजस्थान अग्रणी राज्य बनकर उभरा है। भविष्य में प्रशासनिक कार्याें में आईटी का अहम योगदान होगा। उन्होंने कहा कि ‘आईटी डे’ जैसे आयोजनों से युवाओं को सूचना प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में नई तकनीकों के बारे में जानने का अवसर मिलता है। राज्य सरकार सूचना प्रौद्योगिकी से आमजन को सुशासन देने के लिए प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। गहलोत ने कहा कि उनकी सरकार ने आईटी के लिए हर विभाग में तीन प्रतिशत राशि खर्च करना अनिवार्य किया था, इसका असर दिखाई देने लगा है।
राज्य आई बेस गर्वेनस की तरफ बढ़ रहा है। रविवार को राजस्थान आईटी डे के अवसर पर कार्निवल एंड रन को फ्लैग ऑफ सेरेमनी में गहलोत ने कहा कि राज्य सरकार ई-गवर्नेंस की दिशा में निरंतर आगे बढ़ रही है। इसी क्रम में सभी जिलों में विभागीय अधिकारियों को लैपटॉप-टेबलेट दिए जाने का प्रावधान किया गया है। इस दौरान उन्होंने आईटी डे में भाग ले रहे प्रतिभागियों से मिलकर उनका उत्साहवर्धन किया।
‘स्मार्ट विलेज‘ का किया अवलोकन
सीएम ने इस दौरान जवाहर कला केंद्र में बनाए गए ‘स्मार्टविलेज‘ का अवलोकन किया। उन्होंने ग्रामीण क्षेत्र की आदर्श रूपरेखा, कृषि यंत्र, स्प्रिकलर सिस्टम, जीआईएस, वाटरशेड, डिजिटल ट्रांजेक्शन, ई-मित्र, ई-मित्र प्लस मशीन सहित स्मार्टविलेज की अवधारणा को पूरा करने की तकनीकों एवं अन्य सुविधाओं वाली स्टॉल्स का अवलोकन किया। उन्होंने स्मार्टविलेज में संचालित इंदिरा रसोई में जाकर लाभार्थियों से संवाद किया। लाभार्थियों ने इंदिरा रसोई में मिल रहे भोजन की गुणवत्ता की सराहना की।
21 मार्च तक आयोजन
प्रदेश में 19-21 मार्च तक राजस्थान आईटी डे का आयोजन किया जा रहा है। आईटी डे के तहत 550 से अधिक कम्पनियों का जॉब फेयर, 36 घंटे का ऑफलाइन हैकाथॉन, 1 लाख से अधिक प्रतिभागियों के बीच ऑनलाइन हैकाथॉन, स्टार्टअप/आईटी एक्सपो एंड बाजार, यूथ फिल्म फेस्टिवल सहित विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। ऑनलाइन एवं ऑफलाइन हैकाथॉन के विजेताओं को 60 लाख रुपए के पुरस्कार दिए जाएंगे।