Chandra Grahan 2023 : जयपुर। इस साल का दूसरा और आखिरी चंद्र ग्रहण आज रात दिखाई देगा। भारत में इस ग्रहण की शुरुआत रात 1.05 बजे होगी और रात 2.22 बजे तक चलेगा। यह खंडग्रास चंद्र ग्रहण अश्विनी नक्षत्र और मेष राशि में गठित हो रहा है। राजस्थान सहित पूरे भारत में इसका असर देखने को मिलेगा। ऐसे में प्रदेश के मंदिरों में आज दर्शन व्यवस्था में बदलाव किया गया है।
खास बात ये है कि इस बार शरद पूर्णिमा पर चंद्रग्रहण लगने के कारण मंदिरों में सूतक काल के दौरान खीर का भोग नहीं लगाया जाएगा और ना ही चांद की रोशनी में खीर को रखा जाएगा। इस ग्रहण का सूतक शनिवार शाम 4.05 बजे से ही लग जाएगा। ऐसे में आज शाम से प्रदेश के बड़े मंदिरों के पट बंद कर दिए जाएंगे, जो रविवार सुबह खुलेंगे। सूतक काल खत्म होने के बाद कल रविवार तड़के मंदिरों में पंचामृत से अभिषेक होगा और इसके बाद महाआरती होगी।
प्रदेश के 3 बड़े मंदिरों में ये रहेगी व्यवस्था
सूतक लगने के कारण के कारण वैसे तो प्रदेशभर में सभी मंदिरों के कपाट बंद रहेंगे। लेकिन, हम आपको राजस्थान के तीन प्रसिद्ध मंदिरों के बारे में बता रहे है। जहां पर सबसे ज्यादा श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ती है। जानकारी के मुताबिक अजमेर जिले के पुष्कर स्थित ब्रह्मा मंदिर में शनिवार दोपहर मंदिर पट बंद कर दिए जाएंगे और रविवार सुबह 5.30 बजे मंदिर के पट खुलेंगे।
वहीं, सीकर जिले के खाटूधाम में मंदिर के कपाल आज दोपहर 3.30 बजे बंद हो जाएंगे और रविवार सुबह 5.15 बजे खुलेंगे। इसी प्रकार दौसा जिले के मेहंदीपुर बालाजी धाम में मंदिर के पट शाम 4.05 बजे बंद होंगे और अगले दिन सुबह 5.30 बजे पट खुलेंगे। मंदिर के पट बंद होने के दौरान श्रद्धालुओं को प्रवेश नहीं दिया जाएगा। इसके लिए मंदिर कमेटी और स्थानीय प्रशासन की ओर से श्रद्धालुओं को जानकारी दी है।
इन स्थानों दिखेगा ग्रहण
चंद्र ग्रहण का स्पर्श काल 1:05 बजे, मध्य काल रात्रि 1:44 बजे और मोक्ष काल रात्रि 2:22 बजे रहेगा। इस ग्रहण का सूतक शनिवार शाम 4:05 बजे से ही लग जाएगा। भारत में यह ग्रहण दिल्ली, जयपुर, जम्मू, कोल्हापुर, कोलकाता, लखनऊ, मुंबई, नागपुर, पटना, रायपुर, राजकोट, रांची, शिमला, सिल्चर, उदयपुर, उज्जैन, वडोदरा, वाराणसी, प्रयागराज, चेन्नई, हरिद्वार, मथुरा, हिसार, बरेली, कानपुर, आगरा, रेवाड़ी, अजमेर, अहमदाबाद, अमृतसर, बेंगलुरु समेत अन्य शहरों में देखा जा सकेगा।