जयपुर। देश में बीते कुछ सालों में ऑनलाइन ठगी की वारदातों में बढ़ोत्तरी हुई हैं। साइबर क्राइम की सबसे ज्यादा वारदातें भरतपुर में सामने आई है। ताजा आंकड़ों के मुताबिक, मेवात में सबसे ज्यादा सेक्सटॉर्शन के बाद फिरौती मांगना और हैनीट्रैप की सबसे ज्यादा घटनाएं यहीं से सामने आती है। देश में झारखंड़ का जामताड़ा कभी साइबर अपराधियों का सबसे बड़ा गढ़ माना जाता था, लेकिन हाल के दिनों में राष्ट्रीय राजधानी के आसपास के क्षेत्रों ने इसे पीछे छोड़ दिया है। केंद्रीय गृह मंत्रालय के भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र ने गत तीन वर्ष के साइबर अपराधों के डेटा को एकत्र कर सूची जारी की है, जिसमें साइबर अपराधों में राजस्थान का भरतपुर जिला देश में नंबर एक पर आ गया है।
देश में होने वाले वाले साइबर अपराधों के 16 प्रतिशत मामले अकेले भरतपुर से आ रहे हैं। गृह मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, एनसीआर में साइबर अपराधियों का नया केंद्र बनकर सामने आई है। हिंदुस्तान टाइम्स में रिपोर्ट के मुताबिक, बीते तीन सालों में देश में सबसे अधिक साइबर अपराध राजस्थान के भरतपुर जिले से हुए हैं। इसके अलावा राजस्थान का अलवर, यूपी में मथुरा और हरियाणा में नूंह भी सबसे ज्यादा साइबर अपराध वाले शहरों में शामिल है।
गृह मंत्रालय ने सबसे खतरनाक 10 इलाकों की पहचान की…
इंडियन साइबर क्राइम कोआर्डिनेशन सेंटर की ओर से जारी आंकड़ों के अनुसार, साइबर क्राइम के मामले में भरतपुर टॉप पर है। इसके बाद दूसरे नंबर पर मथुरा और तीसरे नंबर पर हरियाणा का नूंह जिला शामिल है। वहीं गुरुग्राम और अलवर क्रमश: छठे और सातवें नंबर पर हैं। गृह मंत्रालय के रिपोर्ट से पता चला है कि भारत में पंजीकृत कुल साइबर अपराधों में से 54.1% अपराध इन्हीं क्षेत्रों से अंजाम दिए गए हैं।
बीते तीन सालों में देश के सबसे खराब 10 स्थानों की पहचान की है। डेटा के मुताबिक, साइबर अपराध के 16 प्रतिशत मामले राजस्थान के भरतपुर से सामने आए। इसके बाद मथुरा से 14 प्रतिशत मामले सामने आए। वहीं नूंह, गुरुग्राम, अलवर और जामताड़ा से 12 फीसदी मामले सामने आए हैं। वहीं झारखंड के देवधर में 10 प्रतिशत, गिरडीह व बोकारों में 4.8, जामताड़ा के करमाटांड़ में 2.4 प्रतिशत मामले सामने आए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि ये दस शहर देशभर में 81 प्रतिशत साइबर अपराध के लिए जिम्मेदार हैं।
झारखंड में सबसे ज्यादा साइबर अपराध…
रिपोर्ट के मुताबिक, मेवात क्षेत्र साइबर अपराधियों के नए केंद्र के रूप में उभरा है। जबकि, देश में झारखंड में सबसे ज्यादा साइबर अपराध की घटनाओं को झारखंड से अंजाम दिया जाता है। यहां, देश के 26 फीसदी साइबर अपराध होते हैं। जामताड़ा के अलावा देवघर में 10 फीसदी मामले और बोकारो व गिरिडीह में 2.4 फीसदी मामले होते हैं। झारखंड के बाद हरियाणा है जहां 22.1 फीसदी अपराध होते हैं, वहीं तीसरे नंबर पर राजस्थान है, जो 20.1 फीसदी साइबर अपराध के लिए जिम्मेदार है।
कोरोना के बहाने 100 करोड़ की ठगी…
इंडियन साइबर क्राइम कोआर्डिनेशन सेंटर की ओर से जारी आंकड़ों के अनुसार, देश में कोरोना के बाद ही साइबर फ्रॉड के मामलों में बढ़ोत्तरी हुई है। कोरोना के बाद ही मेवात इलाके के भरतपुर, अलवर, नूंह, मथुरा साइबर ठगी के मामले बढ़े हैं। प्रदेश में साल 2020 से 2022 तक करीब 38 हजार मामले कोरोना की जानकारी देने के बहाने भेजे गए लिंक से ठगी करने के आए हैं। इनमें 100 करोड़ रुपए से ज्यादा की ठगी की गई।