जयपुर। उदयपुर के कन्हैयालाल हत्याकांड में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) की विशेष अदालत ने शुक्रवार को एक आरोपी फरहाद मोहम्मद उर्फ बबला को जमानत दे दी। एनआईए कोर्ट के जज रवींद्र कुमार ने आदेश में कहा- आरोपियों पर साजिश में शामिल होने का कोई आरोप नहीं है।
कोर्ट का बयान
कोर्ट ने कहा- वह सिर्फ आर्म्स एक्ट का आरोपी है। उसके पास से तलवार बरामद हुई है या नहीं. तलवार भोंटी थी या धारदार? इसका फैसला जमानत के स्तर पर नहीं किया जा सकता, आरोपी जुलाई 2022 से जेल में है। ऐसे में उसे जमानत मिलनी चाहिए।
आरोपी के वकील की दलील
इससे पहले 24 अगस्त को आरोपी फरहाद की जमानत पर बहस हुई थी। फरहाद के वकील अखिल चौधरी ने कहा था कि जब घटना हुई, उस वक्त दर्ज एफआईआर में आरोपी का नाम नहीं था। न ही उसे नामजद किया गया था। आरोपी मीनाकारी का काम करता है।
जिस तलवार को अभियोजन पक्ष ने बरामद करने का दावा किया है। वह भोंटी है। उस तलवार पर मीनाकारी का काम बिक्री के लिए रखा गया था। वह भी आरोपी से बरामद न होकर उसके परिवारिक मकान में मिली है।
आर्म्स एक्ट की धाराओं में चार्जशीट पेश
वहीं, NIA ने आरोपी के खिलाफ आर्म्स एक्ट की धाराओं के अंदर चार्जशीट पेश की थी। उसके खिलाफ गैर कानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (UAPA) के तहत कोई भी आरोप नहीं लगाया गया था। आरोपी के खिलाफ षड्यंत्र के भी कोई सबूत नहीं है। न ही ऐसा कोई साक्ष्य एनआईए के द्वारा पेश किया है। जिससे यह साबित होता हो कि उसने अन्य आरोपियों के साथ मिलकर यह षड्यंत्र रचा हो।
कन्हैयालाल हत्याकांड से हिल गया था देश
28 जून, 2022 को कन्हैयालाल हत्याकांड के बाद पूरा देश सदमे में था। घटना के कुछ घंटे बाद ही पूरे राजस्थान में इंटरनेट बंद कर दिया गया। राजस्थान में तीन दिन और फिर उदयपुर में एक हफ्ते तक इंटरनेट बंद रहा। उदयपुर में काफी समय तक डर का माहौल रहा। एनआईए, एटीएस, एसटीएफ समेत कई एजेंसियां लगातार उदयपुर में डेरा डाले हुए थी।