भोपाल। मध्यप्रदेश के भोपाल में दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है। यहां एक ही परिवार ने सामूहिक सुसाइड कर लिया है। परिवार के चार लोगों ने फंदा लगाकर आत्महत्या कर ली है। पति पत्नी ने पहले अपने बच्चों को जहर देकर मारा। इसके बाद दोनों ने फंदा लगाकर सुसाइड कर लिया। बताया जा रहा है कि दोनों कर्ज से परेशान थे, इसलिए बच्चों के साथ दंपति ने सुसाइड कर लिया। यह घटना भोपाल के रातीबड़ थाना क्षेत्र के नीलबड़ इलाके की है।
कर्ज से परेशान होकर दंपति ने उठाया ये कदम…
पुलिस को घटनास्थल पर सुसाइड नोट मिला है। चार पेज के सुसाइड नोट में कर्ज से परेशान होने का जिक्र किया गया है। फांसी लगाने से पहले दंपती ने सुसाइड नोट को रिश्तेदारों के मोबाइल पर वाट्सएप, टेलीग्राम एप के जरिए भेजा था। सुसाइड नोट में दंपति ने कर्ज की वजह से जान देने की बात लिखी। फिलहाल पुलिस ने चारों शव कब्जे में लेकर छानबीन शुरू कर दी है। वहीं पुलिस को इस मामले में फोन हैक कर ब्लैकमेलिंग की बात भी सामने आ रही है।
पुलिस के मुताबिक, रातीबड़ की शिव विहार कॉलोनी में रहने वाले भूपेंद्र विश्वकर्मा (38), उनकी पत्नी रितु (35), बेटे ऋतुराज (3) और ऋषिराज (9) ने सुसाइड किया है। मरने से पहले भूपेंद्र ने अपने परिवार के साथ सेल्फी भी खींची। पुलिस की शुरूआती जांच में भूपेंद्र ने अपनी पत्नी के साथ मिलकर पहले बच्चों को जहर दिया, फिर दोनों ने फंदा लगा लिया। भूपेंद्र एलआईसी एजेंट था। कर्ज की वजह से परिवार ने आत्मघाती कदम उठाया। पुलिस ने सुसाइड नोट भी बरामद किया है, जिसमें कर्ज से परेशान होने का खुलासा हुआ है।
बच्चों को मारने के लिए जहरीला पदार्थ लेकर आया पिता…
सुसाइड से पहले भूपेंद्र बाजार से सल्फास और कोल्ड ड्रिंक की बोलत खरीदकर लेकर आया। घर आकर उसने कोल्ड ड्रिंक में जहरीला पदार्थ मिलाकर दोनों बच्चों को पिला दिया। इसके बाद भूपेंद्र और उसकी पत्नी रितु, बच्चों के पास ही बैठे रहे। जब उन्हें दोनों बच्चों की मौत होने की पुष्टि हो गई, तो भूपेंद्र ने दो दुपट्टे को आपस में बांधकर फंदा बनाया और एक साथ फांसी लगाकर जान दे दी।
सुसाइड नोट में लिखा-हमें माफ कर दें…
मृतक के पास से मिले सुसाइड नोट में भूपेंद्र ने अपने परिवार से काफी मांगते हुए कर्ज देने वालों से गुहार लगाई है। सुसाइड नोट में लिखा मेरे परिवार को माफ कर दें, मैं मजबूर हूं। शायद हमारे जाने के बाद सब अच्छा हो जाएगा। कर्ज देने वालों के लिए भूपेंद्र ने लिखा कि मेरे जाने के बाद परिवार को या किसी करीबी को परेशान न किया जाए। मैं अपने मैं अपने पापा मम्मी बाबूजी बाबूजी अम्मा जी तीनो बहने बड़े भैया और दोनों साली से माफी मांगता हूं…हमे माफ कर दें। हमारा साथ यहीं तक था। हमारी आखिरी इच्छा है कि सामूहिक दाह संस्कार किया जाए, ताकि हम साथ रह सकें और पोस्टमार्टम न किया जाए।