Braj Holi Festival: प्रदेश की रंग-बिरंगी ऐतिहासिक संस्कृति से पर्यटकों को रूबरू कराने के लिए पर्यटन विभाग की ओर से तीन दिवसीय ब्रज होली महोत्सव 1 मार्च से शुरू होगा। प्रदेश की संस्कृति को देशभर में नई पहचान दिलाने के लिए पर्यटन विभाग की ओर से मेले व उत्सवों को खास बनाया जा रहा है, ताकि प्रदेश के पर्यटन को नए आयाम मिल सके।
इस कड़ी में फाल्गुन मास में पुष्कर मेले के साथ ही अब पर्यटन विभाग और भरतपुर जिला प्रशासन की ओर से भरतपुर, डीग और कामां में 1 से 3 मार्च तक ब्रज होली महोत्सव आयोजित होगा। राजस्थानी सांस्कृतिक संध्या, श्रीराम भारतीय कला केंद्र, नई दिल्ली की ओर से श्रीकृष्ण की जीवनी पर आधारित नाट्य मंचन और बरसाना के माधवॉज रॉक बैंड की ओर से भक्ति संध्या आकर्षण का केंद्र रहेगी।
पर्यटन विभाग के उपनिदेशक संजय जौहरी ने बृज होली (Braj Holi Festival) महोत्सव कार्यक्रमों के बारे में विस्तार से जानकारी देते हुए कहा कि ब्रज होली महोत्सव में 1 मार्च को डीग में सुबह 10 बजे मेला मैदान में खेलकूद प्रतियोगिता, डीग महल में दोपहर 12 बजे मेंहदी एवं रंगोली प्रतियोगिता, मूंछ प्रतियोगिता, 4 बजे लोक कलाकारों की प्रस्तुतियां, शाम 7 बजे श्रीराम भारतीय कला केन्द्र नई दिल्ली की ओर से कृष्ण लीला की प्रस्तुतियां दी जाएंगी।
2 मार्च को कामां में सुबह 5 बजे लाल दरवाजा पर गणेश पूजन, सुबह 9 बजे गोकुल चंद्रमा मंदिर में गुलाल होली, सुबह 10 बजे मदनमोहन जी मंदिर में कुंज गुलाल होली, सुबह 11 बजे श्रीराधा वल्लभ मंदिर में दूध, दही एवं लडडू होली, दोपहर 2 बजे से लट्ठमार होली एवं श्री गोपीनाथ जी मंदिर से श्री राधा वल्लभ जी मंदिर तक लोक कलाकारों की अनोखी शोभायात्रा, शाम 6 बजे विमल कुंड पर महाआरती, शाम 6 बजे श्री गोपीनाथ जी मंदिर पर होरी के रसिया गायन एवं शाम 7ः30 बजे कोट ऊपर स्टेडियम में श्री कृष्ण रासलीला सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा।
3 मार्च को भरतपुर में सुबह 10 बजे से लोहागढ स्टेडियम में खेलकूद प्रतियोगिता एवं राजकीय संग्रहालय में दोपहर 12 बजे चित्रकला, मेंहदी एवं रंगोली प्रतियोगिता, दोपहर 3 बजे साफा बांधना व मूंछ प्रतियोगिता एवं शाम 6ः30 बजे विश्व प्रिय शास्त्री पार्क के खुले रंगमंच पर मेगा नाइट रंगारंग राजस्थानी सांस्कृतिक संध्या का आयोजन किया जाएगा।
देशी-विदेशी पर्यटकों की होगी कई प्रतियोगिताएं
महोत्सव में देशी और विदेशी पर्यटकों को होली के कई रंग गुलालगोटा, गुलाल होली, कुंज, दुध-दही, लड्डू , फूलों की होली और लट्ठमार होली के रूप में देखने को मिलेंगे। वहीं पर्यटकों के लिए कई प्रतियोगिताएं होंगी। इसके तहत 1 मार्च को डीग के मेला मैदान में खेलकूद प्रतियोगिताओं में रस्साकशी, कबड्डी, मटका दौड़, नींबू दौड़ सहित दादा-पोता दौड़ होगी।
डीग महल परिसर में दोपहर में मेहंदी, रंगोली और मूंछ प्रतियोगिता (Braj Holi Festival) के बाद लोक कलाकारों की शानदार मनमोहक प्रस्तुतियां होंगी। विभागीय अधिकारियों के मुताबिक देश-विदेश से आने वाले सैलानियों को प्रदेश की पर्यटन संस्कृति के बारे में जानकारी भी दी जाएगी।