जयपुर- राज्य में संस्कृत शिक्षा, वेद विद्यालयाें के सरंक्षण और गो- उत्पादों को घर-घर पहुंचाने वाले रैवासा पीठाधीश्वर स्वामी राघवाचार्य महाराज का शुक्रवार को देवलोकगमन हो गया। आज सुबह महाराज की पार्थिव देह को नगर भ्रमण करवाया। इस दौरान रथ पर महाराज के पार्थिव देह को फूल- मालाओं से सजा रखा था। बेंड-बाजे और संकिर्तन के साथ महाराज को भ्रमण करवाया। इसके बाद गौशाला में उनका अंतिम संस्कार हुआ।
पंचतत्व में विलीन हुए राघवाचार्य
आज रैवासा में जानकिनाथ मंदिर में स्तिथ गौशाला में महाराज राघवाचार्य का पूरी क्रियाविधी के साथ अंतिम संस्कार किया गया। इससे पहले महाराज को रैवासा में नगर भ्रमण करवाया गया। इस दौरान हजारों कि संख्या में लोग मौजूद रहे।
मंत्री, विधायक, संत व शिष्यों ने नम आखों से दी विदाई
स्वामी राघवाचार्य को उनके चाहने वालों, संत समाज, शिष्यों, मंत्री, विधायक, राजनेताओं व लोगों ने नम आखें से विदाई दी। इस दौरान मंत्री झाबर सिंह खर्रा, विधायक दांतारामगढ़ वीरेंद्र सिंह, हवामहल विधायक बालमुकंदाचार्य, पूर्व सांसद सुमेधानंदन सरस्वती, सीकर सभापति जीवण खां, भाजपा जिलाध्यक्ष कमल सिखवाल, श्रीबालाजी गोशाला संस्थान सालासर के अध्यक्ष रविशंकर पुजारी, श्रवण चौधरी, दिनेश जोशी, श्रीकुमार लखोटिया सहित अनेक राजनेता मौजूद रहे।
सैंकड़ो संत रहे अंत्येष्टि में मौजूद
स्वामी राघवाचार्य की अंत्येष्टि में राज्य सहित अन्य प्रदेश के संत रहे मौजूद। इस दौरान उत्तराधिकारी राजेंद्रदास, सांगलिया पीठाधीश्वर ओमदास महाराज, बुधगिरी मढ़ी पीठाधीश्वर दिनेशगिरी महाराज, लोहार्गल पीठाधीश्वर अवधेशाचार्य, चौंमू के ग्वालिया बाबा, पलसाना से मनोहरशरण शास्त्री, चंद्रमादास महाराज, महावीर जती, दादूपंती अर्जुनदास महाराज सहित अनेक संत रहे मौजूद।
प्रशासन व पुलिस का दलबल रहा मौजूद
अंत्येष्टि में प्रशासन व पुलिस का दलबल व्यवस्था बनाने के लिए तैनात रहा। दांतारामगढ़ एसडीएम गोविंद सिंह भींचर, तहसीलदार महिपाल सिंह राजावत, दांतारामगढ़ डिपटी जाकिर अख्तर सहित प्रशासनिक अधिकारी, पुलिस व QRT टीम तैनात रही।
उत्तराधीकारी कि लिए लिखकर गए थे वसीयत
राघवाचार्य ने नवंबर 2015 को लिखी वसीयत में राजेंद्रदास देवाचार्य मूलकपीठाधीश्वरबंसीवट वृंदावन को अग्रपीठाधीश रैवासा के उत्तराधीकारीघोषित है। वसीयत में मंदिर ट्रस्टी उपाध्यक्ष आशीष तिवाडी, मंत्री मदनलाल सिंघल, ट्रस्टी गोवर्धन शर्मा, ऋषभ शर्मा, रमेशचंद्र खंडेलवाल के हस्ताक्षर भी है। साक्षी में जुगलकिशोर अग्रवाल व श्रीराम जोशी के हस्ताक्षर भी है। कल शुक्रवार को रैवसा में घनश्याम तिवाड़ी ने वसीयत पढ़ी।