Weather Updates : नई दिल्ली। देशभर में इस बार मानसून निर्धारित समय में तीन दिन की देरी से प्रवेश करेगा। मौसम विभाग के अनुसार आमतौर पर देश में दक्षिणपश्चिम मानसून 1 जून को केरल में प्रवेश करता है, लेकिन इस वर्ष यह 4 जून तक दस्तक देगा। मानसून में देरी का असर देश में आम लोगों और खेती-बाड़ी पर पड़ सकता है। मानसून के पहुंचने की तारीख और वर्षाकाल के दौरान देश में कुल बारिश के बीच कोई सीधा संबंध नहीं है।
साथ ही, केरल में मानसून के जल्दी या देर से पहुंचने का मतलब यह नहीं है कि यह देश के अन्य हिस्सों में उसी अनुसार पहुंचेगा। इधर मौसम विशेषज्ञों के अनुसार राजस्थान में मानसून का प्रवेश जून के आखिरी सप्ताह में होने का अनुमान है। दूसरी तरफ वेदर रिपोर्ट जारी करने वाली एजेंसी स्काईमेट के अनुसार उत्तर भारत में 18 मई को मौसम में बदलाव दिख सकता है और आंधी आ सकती है।
जून के आखिरी सप्ताह तक राजस्थान में करेगा प्रवेश
मौसम केंद्र जयपुर निदेशक राधेश्याम के अनुसार मानसून की के रल से एंट्री तीन दिन देरी से 4 जून से हो रही है। राजस्थान के बारे में अभी कुछ कहना संभव नहीं है, फिर भी अगर पिछले वर्षों की बात करें तो यहां मानसून का प्रवेश के रल में प्रवेश से करीब 25 दिन के अंतराल के बाद होता है। इसके अलावा इन दिनों प्रदेशभर में हल्का पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय है जो तापमान को स्थिर किया हुआ है।
मानसून में देरी का कारण चक्रवात ‘मोखा’ नहीं
मानसून के जल्दी या देर से पहुंचने का संबंध देश के अन्य हिस्सों में पहुंचने से नहीं है। केंद्रीय पृथ्वी विज्ञान के पूर्व सचिव एम राजीवन ने कहा कि ऐसी संभावना नहीं है कि मानसून में देरी का कारण चक्रवात मोखा है। उन्होंने कहा यदि चक्रवात 20 मई-25 मई के आस-पास आया होता, तो यह वास्तव में मानसून को प्रभावित करता। चक्रवात अब खत्म हो चुका है।
पिछले वर्ष समय से पहले आया था मानसून
पिछले वर्ष मानसून ने केरल में समय से पहले 29 मई को प्रवेश किया था। इससे पहले वर्ष 2021 में मानसून की एंट्री 3 जून को हुई थी। इसके अलावा वर्ष 2020 में मानसून का प्रवेश 1 जून को हुआ था।