पैक्ड आटा, दाल, चावल औऱ अन्य खाने-पीने की चीजों को GST के दायरे में लाने के बाद से ही विपक्ष लगातार केंद्र पर हमलावर हो रहा है। दो दिन से संसद में भी यह मुद्दा उछाला जा रहा है, औऱ कार्यवाही को आगे बढ़ने से रोक रहा है। विपक्ष के इस विरोध वाले रवैए पर अब केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने जवाब दिया है। उन्होंने सिलसिलेवार ट्वीट करते हुए विपक्ष को आइना दिखाया है। उन्होंने कहा कि इन चीजों पर जो भी GST लगाया है, वह अकेले केंद्र ने नहीं लगाया है। इसमें राज्यों की भी उतनी ही सहमति है।
निर्मला सीतारमण ने ट्वीट कर कहा कि हाल ही में 28 जून को चंडीगढ़ में जीएसटी काउंसिल की बैठक हुई थी। जिसमें केंद्र के साथ सभी राज्यों के प्रतिनिधि भी शामिल थे। जब पैक्ड सामानों को जीएसटी के दायरे में लाने का प्रस्ताव आया था, तो सभी ने इसमें अपनी सहमति दी थी। वहीं इसके लिए पश्चिम बंगाल, राजस्थान, केरल, उत्तर प्रदेश, गोवा और बिहार ने आगे बढ़ाने का काम किया था। जबकि इसका कर्नाटक के सीएम ने नेतृत्व किया था।
सीतारमण ने इसके आगे कहा कि जिन चीजों पर GST लगा है, और जिन पर नहीं लगा है, इन सब का फैसला काउंसिल में शामिल हर एक सदस्य की सहमति से लिया गया है। तो फिर विपक्षी दल यह कैसे कह सकते हैं कि खाद्य पदार्थों को जीएसटी के दायरे में लाने का निर्णय अकेले केंद्र सरकार का है।
निर्मला सीतारमण ने इसके अलावा उन चीजों की भी सूची जारी की है, जिन पर टैक्स लगा है औऱ जो टैक्स के दायरे में नहीं आ रहे हैं। सीतारमण ने कहा कि पहली बार इन चीजों पर टैक्स नहीं वसूला जा रहा है, इससे पहले पंजाब और उत्तर प्रदेश में इन चीजों पर टैक्स लिया जा चुका है।