गणपति के लॉकर्स से निकले हीरे-रंगीन रत्न… अब तक 6.07 करोड़ रुपए व 11.98 करोड़ का गोल्ड जब्त 

आयकर अधिकारियों ने मंगलवार को 11 और लॉकर्स को खोला और इनमें से एक लॉकर से 2099.8 ग्राम वजन की हीरे, रंगीन रत्न आदि की जड़ाऊ ज्वेलरी को जब्त किया गया।

Ganpati Plaza

Ganpati Plaza : जयपुर। गणपति प्लाजा के निजी वॉल्ट के लॉकर्स में छिपे धन को लेकर 18 दिन पूर्व 14 अक्टूबर को शुरू हुई आयकर सर्वे की कार्रवाई मंगलवार को भी जारी रही। आयकर अधिकारियों ने मंगलवार को 11 और लॉकर्स को खोला और इनमें से एक लॉकर से 2099.8 ग्राम वजन की हीरे, रंगीन रत्न आदि की जड़ाऊ ज्वेलरी को जब्त किया गया। इस ज्वेलरी के सोने की शुद्धता 22 से 14 कैरेट बताई जा रही है। 

आयकर विभाग के अधिकृत मूल्यांकनकर्ता ने इस ज्वैलरी की कीमत करीब 92 लाख रुपए बताई है। इस ज्वेलरी को लेकर जब लॉकर धारक संतोषजनक जवाब नहीं दे पाया तो इसे आयकर कानून के प्रावधानों के अनुसार जब्त कर लिया गया। 

इसके अलावा अन्य लॉकर्स में मिली वस्तुएं निजी उपयोग की होने के कारण अधिकारियों ने इन्हें जब्त नहीं किया और विवरण रिकॉर्ड में लेकर लॉकर धारकों को छोड़ दिया। विभागीय अधिकारी अब तक यहां से 6.07 करोड़ से अधिक नकदी व 11.98 करोड़ मूल्य का 10715 ग्राम सोना व स्वर्णाभूषण भी जब्त कर चुके हैं। आयकर सर्वे की कार्रवाई यहां फिलहाल जारी है।  

देर रात तक जारी रही कार्रवाई

आयकर अधिकारियों का कहना है कि यदि समय विस्तार के बाद भी लॉकर नहीं खोले जाते हैं तो विभाग ऐसे लॉकर्स को फ्रीज कर देगा और लॉकर धारक सर्वे कार्रवाई समाप्त होने के बाद भी बिना आयकर विभाग की अनुमति के इन लॉकर्स को खोल नहीं सकें गे। 

उधर, विभागीय अधिकारियों ने कुछ और संदिग्ध लॉकर धारकों को चिह्नित कर उन्हें भी लॉकर खोलने व इन्हें जांच में शामिल करने को लेकर मंगलवार को भी प्रयासरत रहे। अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि गणपति प्लाजा स्थित निजी लॉकर संचालक, रोयरा सेफ्टी वॉल्ट के लॉकर्स में जारी आयकर सर्वे के बावजूद यहां लॉकर मालिकों के लॉकर संचालन पर कोई रोक नहीं है। आयकर सर्वे की कार्रवाई मंगलवार देर रात 18 वें दिन भी जारी रही।

नोटिस के बाद भी नहीं आए दो दर्जन लॉकर धारक

विश्वस्त सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार आयकर विभाग का नोटिस मिलने के बाद विभाग के सख्त रवैये को देखते हुए कथित संदिग्ध लॉकर धारक अब अपने लॉकर को खोलने के लिए अधिकारियों के समक्ष पहुंचने लगे हैं। बताया जाता है कि आगंतुक से अधिकारी पहले बयान लेते हैं और उसके बाद खुले जा रहे लॉकर की वीडियोग्राफी कराई जाती है। लॉकर खुलने के बाद उसमें मिली सामग्री का विवरण तैयार किया जाता है, जिसकी एक प्रति आयकर अधिकारी अपने पास सुरक्षित रखते हैं और एक प्रति संबंधित लॉकर धारक को उपलब्ध करा दी जाती है। यदि लॉकर में अवैधानिक रूप से रखी गई संपत्ति नहीं मिलती है तो अधिकारी ससम्मान लॉकर धारक को विदा कर देते हैं। 

सूत्रों का कहना है कि विभाग ने जिन 134 संदिग्ध लॉकर धारकों को नोटिस दिए हैं, उनमें से अब करीब दो दर्जन ही ऐसे लॉकर धारक हैं, जिन्होंने विभाग के स्मरण कराए जाने के बावजूद अपने लॉकर नहीं खोले और समय सीमा बढ़ाने के अनावश्यक बहाने कर रहे हैं। विभाग अब इन सभी के खिलाफ आगे विशेष कार्रवाई करने की रणनीति बनाने में जुटा है। इसी तरह गणपति प्लाजा में हो रहे सर्वे में रोज मिल रही नई सफलता से उत्साहित आयकर अधिकारी संभव है। सर्वे कार्रवाई के बाद अब तक नहीं खोले गए सभी लॉकर धारकों को जांच कराने के संबंध में नोटिस जारी करें।

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