जयपुर। राजधानी जयपुर में विश्वकर्मा इलाके में आग से जले परिवार की चिता शांत भी नहीं हुई कि बस्सी थाना इलाके के बैनाड़ा में शनिवार शाम को भीषण हादसा हो गया। यहां एक केमिकल फैक्ट्री में आग लगने से 6 लोगों की मौत हो गई। पांच लोग मौके पर ही जिंदा जल गए। दो लोग गंभीर रूप से झुलस गए। दोनों को तत्काल एसएमएस हॉस्पिटल भेजा गया। जहां इलाज के दौरान एक की मौत हो गई। मृतकों में हीरालाल गुर्जर, गोकुल हरिजन, कृष्ण गुर्जर बैनाड़ा गांव के रहने वाले थे। इसके अलावा बाबूलाल मीणा की भी फैक्ट्री में ही मौत हो गई थी। वह फैक्ट्री में सुपरवाइजर थे।
सीएम भजनलाल शर्मा ने जताई संवेदना
हादसे को लेकर मुख्यमंत्री भजनलाल ने कहा कि जयपुर के समीप बस्सी में केमिकल फैक्ट्री में आग लगने की दुर्घटना से हुई नागरिकों की मृत्यु अत्यंत दखद है। संबंधित अधिकारियों को तत्काल घटनास्थल पर पहुंचकर राहत एवं बचाव कार्य तेजी से संचालित करने तथा प्रभावितों को हरसंभव मदद उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं। प्रभु श्रीराम से प्रार्थना है कि दिवंगत आत्माओ को शांति व घायलों को अतिशीघ्र स्वास्थ्य लाभ प्रदान करे।
कंपनी का नाम शालीमार, 40 मजदूर कर रहे थे काम
कंपनी का नाम शालीमार है। यह कंपनी डामर से रिलेटेड केमिकल तैयार करती है। फैक्ट्री में लगभग 50 लोग काम करते हैं। घटना के समय फैक्ट्री में करीब 40 से अधिक श्रमिक काम कर रहे थे। तभी अचानक फैक्ट्री के एक हिस्से में बॉयलर फट गया, जिससे वहां काम कर रहे मजदूर आग की चपेट में आ गए। अचानक हुई इस घटना के बाद कारखाने में अफरा-तफरी मच गई। लोग जलते हुए बाहर निकलने लगे। फैक्ट्री में बॉयलर फटने से हुए तेज धमाके की आवाज काफी दूर तक सुनाई दी। एकाएक हुई घटना से हर कोई स्तब्ध रह गया। हादसे की सूचना मिलने पर फायर ब्रिगेड की गाड़ियां मौके पर पहुंची और राहत एवं बचाव कार्य शुरू किया।
आरोपियों पर होगी सख्त कार्रवाई
घटना के बाद जयपुर कलेक्टर प्रकाश राजपुरोहित ने कहा कि बैनाडा में आबादी क्षेत्र में शालीमार केमिकल फैक्ट्री संचालित हो रही थी। इस फैक्ट्री में रोड और बिल्डिंग निर्माण में काम आने वाले केमिकल को बनाया जाता है। इस फैक्ट्री में आग लगने की जो घटना हुई है, उसमें फैक्ट्री मालिक से लेकर जिस किसी भी व्यक्ति की लापरवाही सामने आएगी, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। फिलहाल, मालिक फरार है।
मुआवजे की मांग पर स्थानीय लोगों में आक्रोश
घटना के बाद में सैकड़ों की संख्या में लोग मौके पर एकत्र हो गए और मुआवजा व मामले की उच्च स्तर पर जांच की मांग करते हुए विरोध जताने लगे। मौके पर पहुंची एंबुलेंस को भी अंदर नहीं घुसने दिया। बाद में घायलों को सवाईमानसिंह अस्पताल पहुंचाया गया। जहां उनकी भी हालत गंभीर बनी हुई है। वहीं, मृतकों के परिजनों ने शव उठाने से इनकार कर दिया। इस मौके पर पुलिस और प्रशासन के अधिकारियों ने समझाइश की कोशिश की। परिजनों का कहना है कि मुआवजा और फैक्ट्री के मालिक पर कार्रवाई के बाद ही शव को उठाने दिया जाएगा।