रिपोर्टर-श्रवण भाटी : प्रदेश के 199 विधानसभा सीटों के परिणामो में भाजपा ने 2.92 वोट प्रतिशत बढ़ाकर सत्ता की चाबी हासिल की हैं। 2023 के विधानसभा चुनावों में भाजपा ने 2.92 वोट प्रतिशत की बढ़ोतरी करते हुए कुल 41.69 प्रतिशत वोट शेयर प्राप्त हुआ। भाजपा ने इतने कम मार्जन में वोट प्रतिशत बढ़ाने के साथ 2018 की तुलना में 42 अधिक सीटों पर जीत दर्ज की हैं। भाजपा ने 41.69 प्रतिशत वोट शेयर के साथ कुल 115 सीटों पर जीत हासिल की और 1,65,23,568 वोट हासिल किए।
गौरतलब हैं कि 2018 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस को 39.30 प्रतिशत वोट मिले थे, जबकि भाजपा को 38.77 पर्सेंट वोट मिलेथे। दोनों के बीच सिर्फ 0.53 प्रतिशत का अंतर था। 2018 के चुनावों में कांग्रेस ने 100 सीट पर जीत दर्ज की थी तो वहीं भाजपा 73 सीटों पर सिमट गई थी। 2018 में कांग्रेस को वोट 13,935,20और भाजपा को 13,757,502 मिले थे। गौरतलब हैं कि 2018 के विधानसभा चुनावों में भाजपा में 6.40 प्रतिशत के घटने से 90 सीटों के नुकसान के साथ आंकड़ा 73 सीट पर पंहुच गया था।
तीसरे मोर्चे का घटा प्रतिनिधित्व
प्रदेश के इस बार के विधानसभा चुनावों में तीसरे मोर्चे को लेकर सियासी गलियारों में अधिक हलचल थी। रुझानों से पहले ऐसा माना जा रहा था कि इस बार तीसरा मोर्चा सरकार बनाने ने अहम भूमिका निभाएगा। लेकिन परिणाम आने के बाद तीसर मोर्चा दूर दूर तक कहीं दिखाई नहीं दिया। इस बार तीसरे मोर्चे के रूप में आप, बसपा, आरएलपी, एएसपी, बीटीपी, बीएपी, सीपीआई सहित कई मोर्चों ने 200 विधानसाभ चुनावों में ताल ठोकी थी लेकिन सफलता हासिल नहीं हुई।
परिणामो के बाद नई बनी भारत आदिवासी पार्टी ने तीन बसपा 2, आरएलपी 1, आरएलडी एक पार्टी पर सिमट गई। वहीं 8 निर्दलीय प्रत्यशियों का भाग्य चमका। गौरतलब है की 2018 विधानसभा चुनावों में निर्दलीय को 9.5, बसपा को 4, आरएलपी को 2.4, सीपीआई (एम) को 1.2 सहित अन्य दल को 2.5 प्रतिशत वोट मिले थे। वहीं नोटा को 1.3 प्रतिशत वोट मिला था। इस बार सभी तीसरे मोर्चे के वोट प्रतिशत घाट गया। वहीं नोटा का भी वोट प्रतिशत घाट गया।
कांग्रेस ने 2018 से कम हासिल की 31 सीटें
प्रदेश के विधानसभा चुनावो में इस बार कांग्रेस का 2018 चुनावों के मुकाबले कांग्रेस के वोट प्रतिशत बढ़ने के बावजूद भी करारी शिकस्त हुई। इस बार विधानसभा चुनावों में कांग्रेस का वोट प्रतिशत 2018 के चुनावों के मुकाबले वोट प्रतिशत 0.23 बढ़ा लेकिन फिर कांग्रेस ने 31 सीटे हार गई। इस बार विधानसभा चुनाव में कांग्रेस को 39.53 वोट शेयर प्राप्त हुआ और 1,56,66,731 मत प्राप्त किए। गौरतलब है कि 2018 के चुनावों में कांग्रेस को 39.30 वोट प्रतिशत हासिल हुआ था।
इस बार कांग्रेस के वोट प्रतिशत 0.23 प्रतिशत बढ़ने के बावजूद कांग्रेस 31 सीटे हारते हुए 69 सीटों पर सिमट गयी। गौरतलब हैं कि 2018 में कांग्रेस का पोलिंग पर्सेंटेज 6.23 की बढ़ोतरी हुई थी वहीं भाजपा के 6.40 प्रतिशत घटा था। कांग्रेस ने 6.23 की बढ़ोतरी में 79 सीटों में बढ़ोतरी होते हुए कुल 100 सीटों पर जीत दर्ज की थी। वहीं भाजपा में 6.40 प्रतिशत के घटने से 90 सीटों के नुकसान के साथ आंकड़ा 73 सीट पर पंहुच गया था।
इतना रहा वोट प्रतिशत…
पार्टी | वोट प्रतिशत |
भाजपा | 41.69 प्रतिशत |
कांग्रेस | 39.53 |
बसपा | 1.82 |
नोटा | 0.96 |
आरएलटीपी | 2.39 |
आप | 0 .38 |
एआइएमआइएम | 0.01 |
अन्य | 11.90 |