जयपुर। राजस्थान में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने हैं। दोनों ही पार्टियां जोर-शोर से तैयारियों में जुट गई हैं। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत अभी से काफी सक्रिय हो गए हैं और सरकार को रिपीट करने की जुगत में लगे हैं। इस बीच खबरें आ रही है कि सितंबर में कांग्रेस सरकार अपने उम्मीदवारों की 2 लिस्ट जारी करेगी, जिसमें 100 उम्मीदवारों के नामों से पर्दा उठ जाएगा। पहली सूची में 45 से 50 और दूसरी लिस्ट में 40 से 45 उम्मीदवारों का नाम हो सकता है। चुनाव की सरगर्मियां तेज हो गई हैं।
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30 साल के इतिहास बदलने की तैयारी में
राजस्थान में पिछले 30 साल में कोई भी सरकार रिपीट नहीं हुई है, लेकिन इस बार ‘मिशन रिपीट’ के तहत कांग्रेस सरकार इस इतिहास को पलटने का मन बना चुकी है। चुनाव की तैयारियों को लेकर कांग्रेस सरकार भाजपा से काफी आगे है। कांग्रेस ने लगभग अपनी सभी तैयारियां पूरी कर ली हैं। कांग्रेस सरकार सितंबर में अपने कैंडिडेट्स की दो लिस्ट जारी करेंगी। पहली लिस्ट में कांग्रेस के मजबूत नेताओं का नाम शामिल होगाा तो दूसरी लिस्ट में उन नेताओं के नाम शामिल हो सकते हैं जहां से पार्टी को दो या तीन बार हार का सामना करना पड़ा है। सितंबर में इन लिस्टों को जारी करने के पीछे पार्टी का उद्देश्य है कि कैंडिडेट्स को चुनाव से पहले प्रचार-प्रसार के लिए पर्याप्त समय मिल सके।
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उम्मीदवारों को पहुंच बनाने के लिए समय देना चाहती है पार्टी
कांग्रेस पार्टी का सितंबर में उम्मीदवारों की लिस्ट जारी करने के पीछे का मुख्य मकसद यह है कि जिस सीट पर पार्टी को 2 या 3 बार हार सामना करना पड़ा है उन उम्मीदवारों को जनता तक अपनी पहुंच बनाने के लिए ज्यादा से ज्यादा समय मिल सके। समय रहते उम्मीदवार घर-घर जाकर लोगों से डायरेक्ट रूबरू होकर अपनी पैठ बनाएं और सीट को निकालने में कामयाब हो सकें। इसलिए कांग्रेस पार्टी मिशन रिपीट के तहत तरह-तरह के एक्सपेरिमेंट करने में जुटी है।